धर्म, कला और संस्कृति

आग के देवता अग्निदेव का हिंदू धर्म ग्रथों में विशेष स्थान है। अग्निदेव को उच्च कोटि का देवता माना गया है। मनुष्यों का सारा काम ही अग्नि पर निर्भर करता है। अग्निदेव को भगवान इंद्र का जुड़वां भाई माना जाता है। वह उन्हीं की तरह विशाल और शक्तिशाली हैं। अग्निदेव के माता-पिता के बारे में काफी मतभेद हैं...

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सौभरि ऋषि का उल्लेख श्रीमद्भागवतम् के नवें स्कंध के छठवें अध्याय में आता है। एक बार सौभरि ऋषि यमुना नदी के जल में प्रवेश कर कठोर तपस्या कर रहे थे। वहां एक महामत्स्य को अपने परिवार के साथ खुशहाल जीवन बिताते देख उनके मन में भी गृहस्थ जीवन बिताने की उत्कंठा जागृत हो गई।

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भारत के विभिन्न मंदिरों में कई ऐसे चमत्कार हैं जिनका रहस्य विज्ञान आज भी सुलझा नहीं पाया है। ऐसा ही एक चमत्कारी मंदिर ग्वालियर से 70 किलोमीटर दूर उत्तर प्रदेश की सीमा से सटे भिंड जिले के दंदरौआ सरकार धाम में है। तहसील मेंहगांव के ग्राम धमूरी और चिरोल के मध्य यह धाम स्थित है।

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बारह ज्योतिर्लिगों में से एक त्र्यम्बकेश्वर प्राचीन हिन्दू मंदिर है, जो भारत के महाराष्ट्र स्थित नासिक जिले की त्र्यम्बकेश्वर तहसील के त्र्यम्बक शहर में स्थित है। यह मंदिर नासिक शहर से 28 किमीदूर है। भगवान शिव को समर्पित त्र्यम्बकेश्वर मंदिर शिव के उन 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक है, जिन्हें भारत में सबसे पवित्र और वास्तविक माना जाता है।

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उज्जैन स्थित भर्तृहरि की गुफा के बारे में माना जाता है कि यहां राजा भर्तृहरि ने कठोर तपस्या की थी। शिप्रा नदी के निकट मौजूद इस गुफा के अंदर जाने का रास्ता काफी छोटा है। गुफा की ऊंचाई काफी कम है। यहां प्रकाश भी काफी कम है।

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माया और योगमाया दोनों भगवान की शक्ति हैं और शक्ति कभी शक्तिमान से पृथक नहीं हो सकती है। उदाहरण के लिए एक आग है और एक आग में जलाने की शक्ति। अब यदि आग को अलग कर दें और जलाने की शक्ति बची रहे तो यह संभव नहीं है। इसी प्रकार, माया और योगमाया दोनों भगवान की शक्ति हैं...

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